कुछ तो रहम कर दो....
🍁🙏🍁
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
कुछ तो रहम कर दो,
कमाई साथ ले जाने दो।
लुटे माल साथ ले जाता,
डीजिटल ही करवा दो।
कुछ तो रहम कर दो!
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
ईमान धरम त्याग देता,
इंसान क्या नहीं करता।
चोरी चमारी लुट पाट,
जलालत झेल जाता।
कुछ तो रहम कर दो!
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
बेइमान मक्कार बनता,
गद्दारी तक कर जाता।
छल कपट झूठ फरेब,
सब अपने लिए करता।
कुछ तो रहम कर दो!
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
जिन्दगी भर जुझता,
पर हासिल क्या होता।
होता तो काल का ग्रास,
अपने साथ क्या जाता।
कुछ तो रहम कर दो!
प्रभु बड़ा तरस आता, साथ कुछ नहीं जाता...
🍁🍁
✒....धीरेन्द्र श्रीवास्तव "धीर"
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